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उस दिन शुक्ला-द्वादशी की रात थी | সেদিন শুক্লদ্বাদশীর রাত্রি |
ये सोच कर वो पिता से बोले, ‘तुम्हारी इच्छा पूरी होगी कल होते ही तुम तुम्हारे बेटे की उम्र प्राप्त करोगे, बेटे से जा कर बोले, ‘कल होते ही तुम तुम्हरे पिता के उम्र के हो जाओगे सुन कर दोनों ही बहुत खुश हो गए | এই ভাবিয়া বাপকে গিয়া বলিলেন, 'তোমার ইচ্ছা পূর্ণ হইবে কাল হইতে তুমি তোমার ছেলের বয়স পাইবে' ছেলেকে গিয়া বলিলেন, 'কাল হইতে তুমি তোমার বাপের বয়সী হইবে' শুনিয়া দুইজনে ভারি খুশি হইয়া উঠিলেন |
हमारे पोस्टमास्टर कलकत्ता के थे | আমাদের পোস্টমাস্টার কলিকাতার ছেলে |
कन्या का नाम जब सुभाषिणी रखा गया था तब कौन जानता था कि वह गूंगी होगी | মেয়েটির নাম যখন সুভাষিণী রাখা হইয়াছিল তখন কে জানিত সে বোবা হইবে |
अब की बार उसका पति अपनी आंखों और कानों से ठीक प्रकार परीक्षा लेकर एक बोलने वाली कन्या को ब्याह लाया | এবার তাহার স্বামী চক্ষু এবং কর্ণেন্দ্রিয়ের দ্বারা পরীক্ষা করিয়া এক ভাষাবিশিষ্ট কন্যা বিবাহ করিয়া আনিল |
तीसरी या चौथी बार चारु ने कोरी धमकी न देकर धीरे-धीरे एक बार बाहर से तारापद के कमरे के दरवाजे की साँकल चढ़ाकर माँ के मसाले के बक्स का ताला लाकर लगा दिया | তৃতীয় বা চতুর্থ বারে চারু ফাঁকা শাসন না করিয়া আস্তে আস্তে এক সময় বাহির হইতে তারাপদর ঘরের দ্বারে শিকল আঁটিয়া দিয়া মার মসলার বাক্সের চাবিতালা আনিয়া তালা লাগাইয়া দিল |
नतीजा थप्पड़, लात, मार कुटाई कुछ भी सही जगह पर नहीं पड़ता था | কাজেই কিল চড়-চাপড় সকল সময় ঠিক জায়গায় গিয়া পড়িত না |
गुरु ने पुकारा, 'गौरी! ' | গুরু ডাকিলেন, “গৌরী! ” |
उस समय सुबलचन्द्र को ठंडा रखने के लिए सुशीलचन्द्र ने एक मास्टर रख दिया, मास्टर रात दस बजे तक उसे पढ़ाता रहता | সে সময়টায় সুবলকে ঠাণ্ডা রাখিবার জন্য সুশীল একজন মাস্টার রাখিয়া দিল; মাস্টার রাত্রি দশটা পর্যন্ত তাহাকে পড়াইত |
दुसरे दिन सुबल चन्द्र फिर से बूढ़े और सुशील फिर से बच्चा बन गया | পরদিন সকালে সুবল পূর্বের মতো বুড়া হইয়া এবং সুশীল ছেলে হইয়া জাগিয়া উঠিলেন |
सहेली चारु शशि के साथ सब बातों में उसका विशेष बंधुत्व था, किंतु तारापद के संबंध में वह चारु को अत्यंत भय और संदेह से देखती | সখী চারুশশীর সহিত তাহার সকল বিষয়েই বিশেষ হৃদ্যতা ছিল, কিন্তু তারাপদর সম্বন্ধে চারুকে সে অত্যন্ত ভয় এবং সন্দেহের সহিত দেখিত |
लेकिन बचपन वापस पा कर वो किसी भी तरह स्कूल जाने को तैयार नही | কিন্তু ছেলেবয়স ফিরিয়া পাইয়া সুবলচন্দ্র কিছুতেই স্কুলমুখো হইতে চাহেন না |
बूढ़े सुशील को भी रोज़ मुश्किलें आने लगीं | বুড়া সুশীলের বড়ো গোল বাধিল |
कहीं भी उसके लिए स्वभावतः कोई बंधन नहीं था, इससे तारापद ने देखते-देखते थोड़े दिनों में ही गाँव के समस्त हृदयों पर अधिकार कर लिया | কোথাও তাহার প্রকৃত কোনো বন্ধন ছিল না বলিয়াই এই বালক আশ্চর্য সত্বর ও সহজে সকলেরই সহিত পরিচয় করিয়া লইতে পারিত, তারাপদ দেখিতে দেখিতে অল্পদিনের মধ্যেই গ্রামের সমস্ত হৃদয় অধিকার করিয়া লইল |
सुशील बिस्तर पर पड़े रोते-रोते सारा दिन केवल मन-ही-मन यही कहता रहा, ‘काश, मैं अगर बाबा के जितनी उम्र का होता तो कितना अच्छा होता जो मेरे इच्छा होती वही करता और कोई मुझे ऐसे कमरे में बंद कर के नहीं जा पाता | সুশীল বিছানায় পড়িয়া কাঁদিতে কাঁদিতে সমস্ত দিন ধরিয়া কেবল মনে করিতে লাগিল যে, 'আহা, যদি কালই আমার বাবার মতো বয়স হয়, আমি যা ইচ্ছা তাই করতে পারি, আমাকে কেউ বন্ধ করে রাখতে পারে না |
नगरों में जैसे घर के पार्श्व में या कुछ दूर पर एक-आध सरकारी बगीचे का रहना आवश्यक है, वैसे ही गांवों में दो-चार निठल्ले-निकम्मे सरकारी इन्सानों का रहना आवश्यक है | শহরে যেমন এক-আধটা গৃহসম্পর্কহীন সরকারি বাগান থাকা আবশ্যক তেমনি গ্রামে দুই-চারিটা অকর্মণ্য সরকারি লোক থাকার বিশেষ প্রয়োজন |
तुम्हारे लिए लेमनचूस खरीद रखा था.l वो भी खाने की ज़रूरत नहीं | তোর জন্যে আজ লজঞ্জুস কিনে রেখেছিলুম, সেও আজ খেয়ে কাজ নেই |
तारापद अपनी प्रखर स्मरण-शक्ति एवं अखंड मनोयोग के साथ अंग्रेजी शिक्षा में प्रवृत्त हुआ | তারাপদ তাহার প্রখর স্মরণশক্তি এবং অখণ্ড মনোযোগ লইয়া ইংরাজি-শিক্ষায় প্রবৃত্ত হইল |
जिस समय इधर रतन बुलाहट की प्रतीक्षा में रहती, वे अधीर होकर अपनी दरख्वास्त के उत्तर की प्रतीक्षा करते रहते | রতন যখন আহ্বান প্রত্যাশা করিয়া বসিয়া আছে, তিনি তখন অধীরচিত্তে তাঁহার দরখাস্তের উত্তর প্রতীক্ষা করিতেছেন |
तब मति बाबू विचार करने लगे, तारापद लड़का देखने-सुनने में सब तरह से अच्छा है; उसको मैं घर ही में रख सकूँगा, ऐसा होने से अपनी एकमात्र लड़की को पराए घर नहीं भेजना पड़ेगा | তখন মতিবাবু ভাবিতে লাগিলেন, তারাপদ ছেলেটি দেখিতে শুনিতে সকল হিসাবেই ভালো; উহাকে আমি ঘরেই রাখিতে পারিব, তাহা হইলে আমার একমাত্র মেয়েটিকে পরের বাড়ি পাঠাইতে হইবে না |
भावी आशंका से भयभीत होकर वह कुछ दिनों में मूक पशु की तरह लगातार अपने माता-पिता के साथ रहती और अपने बड़े-बड़े नेत्रों से उनके मुख की ओर देखकर मानो कुछ समझने का प्रयत्न किया करती पर वे उसे, कोई भी बात समझाकर बताते ही नहीं थे | একটা অনির্দিষ্ট আশঙ্কা-বশে সে কিছুদিন হইতে ক্রমাগত নির্বাক্ জন্তুর মতো তাহার বাপ-মায়ের সঙ্গে সঙ্গে ফিরিত— ডাগর চক্ষু মেলিয়া তাঁহাদের মুখের দিকে চাহিয়া কী-একটা বুঝিতে চেষ্টা করিত, কিন্তু তাঁহারা কিছু বুঝাইয়া বলিতেন না |
बहुत खोज और खर्च के बाद दोनों बड़ी कन्याओं के हाथ पीले हो चुके हैं, और अब छोटी कन्या सुभा माता-पिता के हृदय के नीरव बोझ की तरह घर की शोभा बढ़ा रही है | দস্তুরমত অনুসন্ধান ও অর্থব্যয়ে বড়ো দুটি মেয়ের বিবাহ হইয়া গেছে, এখন ছোটোটি পিতামাতার নীরব হৃদয়ভারের মতো বিরাজ করিতেছে |
इधर चारु की अवस्था ग्यारह पार कर गई | এ দিকে চারুর বয়স এগারো উত্তীর্ণ হইয়া যায় |
गौरवर्ण बालक देखने में बड़ा सुंदर था | গৌরবর্ণ ছেলেটিকে বড়ো সুন্দর দেখিতে |
हमेशा से ही वो तालाब में नहाता है लेकिन आज भी वही करने से हाथ-पाँव में गठिया का दर्द और सुजन उभर आया, जिसकी चिकत्सा करने में छह महीने लग गये | চিরকাল সে পুকুরে স্নান করিয়া আসিয়াছে, আজও তাহাই করিতে গিয়া হাতের গাঁট পায়ের গাঁট ফুলিয়া বিষম বাত উপস্থিত হইল; তাহার চিকিৎসা করিতে ছয় মাস গেল |
जमींदार के आगमन से घर से पालकी और टट्टू-घोड़ों का समागम हुआ, और हाथ में बाँस की लाठी धारण किए सिपाही-चौकीदारों के दल ने बार-बार बंदूक की खाली आवाज से गाँव के उत्कंठित काक समाज को ‘यत्परोनास्ति’ मुखर कर दिया | জমিদারের আগমনে বাড়ি হইতে পালকি এবং টাটুঘোড়ার সমাগম হইল এবং বাঁশের লাঠি হস্তে পাইক-বরকন্দাজের দল ঘন ঘন বন্দুকের ফাঁকা আওয়াজে গ্রামের উৎকণ্ঠিত কাকসমাজকে যৎপরোনাস্তি মুখর করিয়া তুলিল |
मुंह में एक पूरा पान ठूंस का उसे ध्यान आता है कि उसे दांत नहीं हैं, चबाने में बहुत ही कष्ट है | মুখের মধ্যে আস্ত পান পুরিয়াই হঠাৎ দেখে, দাঁত নাই, পান চিবানো অসাধ্য |
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