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दोनों ओर गांव हैं, और वृक्षों के छायादार ऊंचे किनारे हैं, जिनके नीचे से गांव की लक्ष्मी सरिता अपने-आपको भूलकर शीघ्रता के साथ कदम बढ़ाती हुई बहुत ही प्रसन्न-चित्त असंख्य शुभ कार्यों के लिए चली जा रही है | দুই ধারে লোকালয় এবং তরুচ্ছায়াঘন উচ্চতট; নিম্নতল দিয়া গ্রামলক্ষ্মী স্রোতস্বিনী আত্মবিস্মৃত দ্রুত পদক্ষেপে প্রফুল্লহৃদয়ে আপনার অসংখ্য কল্যাণকার্যে চলিয়াছে |
कोठी में गुमाश्ते वगैरह जितने भी कर्मचारी थे उन्हें अक्सर फुर्सत नहीं रहती थी, न वे शिष्टजनों से मिलने-जुलने के योग्य ही थे | কুঠির গোমস্তা প্রভৃতি যে-সকল কর্মচারী আছে তাহাদের ফুরসত প্রায় নাই এবং তাহার ভদ্রলোকের সহিত মিশিবার উপযুক্ত নহে |
किंतु बालिकावस्था में भी नारी के अंतर रहस्य का भेद जानना बहुत कठिन है, चारुशशि ने इसका प्रमाण दिया | কিন্তু বালিকাবস্থাতেও নারীদের অন্তররহস্য ভেদ করা সুকঠিন, চারুশশী তাহার প্রমাণ দিল |
अन्यान्य बंधनों की भाँति किसी प्रकार का अभ्यास-बंधन भी उसके मन को बाध्य न कर सका | অন্যান্য বন্ধনের ন্যায় কোনোপ্রকার অভ্যাসবন্ধনও তাহার মনকে বাধ্য করিতে পারে নাই |
उसके पिता ने आकर पूछा- ‘क्या रे, इस समय बिस्तर पर पड़ा है, आज स्कूल नही जाना क्या | তাহার বাপ সুবল গিয়া জিজ্ঞাসা করিলেন, 'কী রে, বিছানায় পড়ে আছিস যে আজ ইস্কুলে যাবি নে |
दयार्द्र तारापद उसको बुलाकर कहता, ‘‘सोना, आज संध्या समय मैं तेरे घर आऊँगा, अच्छा!’’ चारु सर्पिणी के समान फुफकारती हुई उठकर कहती, ‘‘हाँ, जाओगे! तुम्हें पाठ तैयार नहीं करना है मैं मास्टर साहब से कह दूँगी!’’ | দয়ার্দ্র তারাপদ তাহাকে ডাকিয়া বলিত, “সোনা, আজ সন্ধ্যাবেলায় আমি তোদের বাড়ি যাব এখন" চারু সর্পিণীর মতো ফোঁস করিয়া উঠিয়া বলিত, “যাবে বৈকি তোমার পড়া করতে হবে না আমি মাস্টারমশায়কে বলে দেব না " |
पोस्टमास्टर, ‘‘अब नहीं लौटूंगा" | পোস্টমাস্টার, "আর আসব না" |
उसे ध्यान आता, उसका एक भाई था, बहुत दिन पहले बरसात में एक दिन तालाब के किनारे दोनों ने मिलकर पेड़ की टूटी हुई टहनी की बंसी बनाकर झूठ-मूठ मछली पकड़ने का खेल खेला था, अनेक महत्त्वपूर्ण घटनाओं की अपेक्षा इसी बात की याद उसे अधिक आती | মনে পড়িত, তাহার একটি ছোটোভাই ছিল-- বহু পূর্বেকার বর্ষার দিনে একদিন একটা ডোবার ধারে দুইজনে মিলিয়া গাছের ভাঙা ডালকে ছিপ করিয়া মিছামিছি মাছধরা খেলা করিয়াছিল-- অনেক গুরুতর ঘটনার চেয়ে সেই কথাটাই তাহার মনে বেশি উদয় হইত |
सुशील सोचा करता था पिता की तरह आज़ाद होने पर वो सारा दिन अपने लड़के-दोस्तों के साथ डू-डू आवाज़ करते हुए कबड्डी खेलता रहेगा, लेकिन आज राखाल, गोपाल, निवारण,अक्षय, हरीश को देख कर मन-ही-मन खीज उठा, सोचा, अभी चुपचाप यहाँ बैठा हूँ अभी लड़के आयेंगे और अचानक ही हुडदंग मचाने लगेंगे | সুশীল ভাবিয়াছিল, বাপের মতো স্বাধীন হইলে তাহার সমস্ত ছেলে বন্ধুদের সঙ্গে সমস্তদিন ধরিয়া কেবলই ডুডু ডুডু শব্দে কপাটি খেলিয়া বেড়াইবে; কিন্তু আজ রাখাল গোপাল অক্ষয় নিবারণ হরিশ এবং নন্দকে দেখিয়া মনে মনে বিরক্ত হইয়া উঠিল; ভাবিল, 'চুপচাপ করিয়া বসিয়া আছি, এখনই বুঝি ছোঁড়াগুলো গোলমাল বাধাইয়া দিবে |
बाँसुरी के समान सुमिष्ट उन्मुक्त स्वर पर आकर झुके पड़ रहे थे उस नदी-नीर के संध्याकाश में हास्य, करुणा एवं संगीत का एक अपूर्व रस-स्त्रोत प्रवाहित होने लगा दोनों निस्तब्ध किनारे कौतूहलपूर्ण हो उठे, पास से जो सारी नौकाएँ गुजर रही थीं उनमें बैठे लोग क्षण-भर के लिए उत्कंठित होकर उसी ओर कान लगाए रहे जब गीत समाप्त हो गया तो सभी ने व्यथित चित्त से लंबी साँस लेकर सोचा, इतनी जल्दी यह क्यों समाप्त हो गया | বাঁশির মতো সুমিষ্ট পরিপূর্ণস্বরে দাশুরায়ের অনুপ্রাস ক্ষিপ্রবেগে বর্ষণ করিয়া চলিল ;দাঁড়ি মাঝি সকলেই দ্বারের কাছে আসিয়া ঝুঁকিয়া পড়িল; হাস্য করুণা এবং সংগীতে সেই নদীতীরের সন্ধ্যাকাশে এক অপূর্ব রসস্রোত প্রবাহিত হইতে লাগিল— দুই নিস্তব্ধ তটভূমি কুতুহলী হইয়া উঠিল, পাশ দিয়া যে-সকল নৌকা চলিতেছিল, তাহাদের আরোহীগণ ক্ষণকালের জন্য উৎকণ্ঠিত হইয়া সেই দিকে কান দিয়া রহিল; যখন শেষ হইয়া গেল সকলেই ব্যথিতচিত্তে দীর্ঘনিশ্বাস ফেলিয়া ভাবিল, ইহারই মধ্যে শেষ হইল কেন |
आज शनिवार के दिन स्कूल में दो बजे ही छुट्टी हो जाती है लेकिन आज सुशील का किसी भी तरह स्कूल जाने का मन नही हो रहा था | আজ শনিবারের দিনে দুটোর সময় স্কুলের ছুটি ছিল, কিন্তু আজ স্কুলে যাইতে সুশীলের কিছুতেই মন উঠিতেছিল না |
किसी भी प्रकार की चिंता से आच्छन्न न रहने के कारण उसके निर्मल स्मृति-पट पर सारी बातें अद्भुत सहज ढंग से अंकित हो जातीं | কোনোপ্রকার চিন্তার দ্বারা আচ্ছন্ন না থাকাতে তাহার নির্মল স্মৃতিপটে সকল জিনিস আশ্চর্য সহজে মুদ্রিত হইয়া যাইত |
पास के सड़क पर लोग जा रहे थे उन्होंने जब एक बूढ़े को बच्चे की तरह पेड़ पर चढ़ने की कोशिश करते देखा तो हँसते हँसते बेहाल हो गये | কাছে রাস্তা দিয়া লোক চলিতেছিল, তাহারা বুড়াকে ছেলেমানুষের মতো গাছে চড়িতে ও পড়িতে দেখিয়া হাসিয়া অস্থির হইয়া গেল |
किंतु बंधन, यही नहीं, स्नेह का बंधन भी उसे सहन नहीं हुआ, उसके जन्म-नक्षत्र ने उसे गृहहीन कर रखा था | কিন্তু বন্ধন, এমন-কি স্নেহবন্ধনও তাহার সহিল না; তাহার জন্মনক্ষত্র তাহাকে গৃহহীন করিয়া দিয়াছে |
हरिभजन सभा के नवीन प्रचारक ब्रह्माचारी परमानंद स्वामी को बुलाकर गौरी ने उनसे दीक्षा-मन्त्र लिया और 'भागवत' की व्याख्या सुनने लगी | হরিসভার নবীন প্রচারক ব্রক্ষ্মচারী পরমানন্দস্বামীকে ডাকিয়া মন্ত্র লইল এবং তাঁহার নিকট ভাগবতের ব্যাখ্যা শুনিতে আরম্ভ করিল |
तारापद के उससे आगे निकलकर नया पाठ लेने पर वह बहुत रुष्ट होती, यहाँ तक कि रोने-धोने से भी बाज न आती थी | তারাপদ তাহাকে অতিক্রম করিয়া নূতন পড়া লইতে গেলে সে মহা রাগারাগি করিত, এমন-কি কান্নাকাটি করিতে ছাড়িত না |
एकबार मन में आया खेल-कूद एकदम से छोड़ देना ठीक नहीं होता, एक बार कोशिश कर के ही देखा जाये | একবার মনে হইল, খেলাধুলোগুলো একেবারেই ছাড়িয়া দেওয়াটা ভালো হয় না, একবার চেষ্টা করিয়াই দেখা যাক |
कहा, ‘‘भला यह कभी हो सकता है! | কহিলেন, “সেও কি কখনো হয় |
वह किसी भी प्रकार के विशेष संस्कारों के द्वारा बँधा हुआ नहीं था, अतएव सभी अवस्थाओं में और सभी कामों में उसमें एक प्रकार की सहज प्रवीणता थी | সে কোনোপ্রকার বিশেষ সংস্কারের দ্বারা বদ্ধ ছিল না, অথচ সকল অবস্থা, সকল কাজের প্রতিই তাহার একপ্রকার সহজ প্রবণতা ছিল |
चारु जिस समय अंतःपुर में होती, उसी समय का पता लगाकर सोनामणि संकोच करती हुई तारापद के द्वार के पास आ खड़ी होती | চারু যে সময়ে অন্তঃপুরে থাকিত, সেই সময়টি বাছিয়া সোনামণি সসংকোচে তারাপদর দ্বারের কাছে আসিয়া দাঁড়াইত |
इसी बीच शायद सहसा चारु आ उपस्थित होती | এমন সময় হয়তো হঠাৎ চারু আসিয়া উপস্থিত |
फिर कभी-कभी आदत मुताबिक जा कर अपने बेटे सुशील को पिटता तो सुशील उनसे कहता, ‘पढाई लिखाई कर के यही शिक्षा मिली है, एक रत्ती लड़का और बड़ों पर हाथ उठाना, वैसे आस-पास लोग जमा हो जाते और कोई थप्पड़ तो कोई डांट तो कोई समझाने लगता | আবার এক-একদিন তাহার পূর্বের অভ্যাসমত তাহার ছেলে সুশীলকে গিয়া মারিত, সুশীল ভারি রাগ করিয়া বলিত, 'পড়াশুনো করে তোমার এই বুদ্ধি হচ্ছে একরত্তি ছেলে হয়ে বুড়োমানুষের গায়ে হাত তোল!' অমনি চারি দিক হইতে লোকজন ছুটিয়া আসিয়া কেহ কিল, কেহ চড়, কেহ গালি দিতে আরম্ভ করে |
प्रकृति के ये अनोखे शब्द और अनोखे गीत-यह भी तो गूंगी की ही भाषा है, बड़ी-बड़ी आंखों और उसमें भी बड़ी पलकों वाली सुभाषिणी की जो भाषा है, उसी का मानो वह विश्वव्यापी फैलाव है | প্রকৃতির এই বিবিধ শব্দ এবং বিচিত্র গতি, ইহাও বোবার ভাষা— বড়ো বড়ো চক্ষুপল্লববিশিষ্ট সুভার যে ভাষা তাহারই একটা বিশ্বব্যাপী বিস্তার; |
केवल संगीत ही क्यों, वृक्षों के घने पत्तों के ऊपर जब श्रावण की वृष्टि-धारा पड़ती, आकाश में मेघ गरजते, पवन अरण्य में मातृहीन दैत्य-शिशु की भाँति क्रंदन करता रहता तब उसका चित्त मानो उच्छृंखल हो उठता निस्तब्ध दोपहरी में, आकाश से बड़ी दूर से आती चील की पुकार, वर्षा ऋतु की संध्या में मेढ़कों का कलरव, गहन रात में श्रृगालों की चीत्कार-ध्वनि–सभी उसको अधीर कर देते | কেবল সংগীত কেন, গাছের ঘন পল্লবের উপর যখন শ্রাবণের বৃষ্টিধারা পড়িত, আকাশে মেঘ ডাকিত, অরণ্যের ভিতর মাতৃহীন দৈত্যশিশুর ন্যায় বাতাস ক্রন্দন করিতে থাকিত, তখন তাহার চিত্ত যেন উচ্ছৃঙ্খল হইয়া উঠিত, নিস্তব্ধ দ্বিপ্রহরে বহুদূর আকাশ হইতে চিলের ডাক, বর্ষার সন্ধ্যায় ভেকের কলরব, গভীর রাত্রে শৃগালের চীৎকারধ্বনি সকলই তাহাকে উতলা করিত |
कन्या के गहरे शान्त अन्त:करण में असीम अव्यक्त क्रन्दन ध्वनित हो उठा, और सृष्टिकर्ता के सिवा और कोई उसे सुन ही न सका | বালিকার চিরনীরব হৃদয়ের মধ্যে একটা অসীম অব্যক্ত ক্রন্দন বাজিতে লাগিল— অন্তর্যামী ছাড়া আর-কেহ তাহা শুনিতে পাইল না |
इधर बहुत दिन तक नाना संप्रदायों के साथ योग देने के कारण अनेक प्रकार की मनोरंजनी विद्याओं पर उसका अधिकार हो गया था | এ দিকে অনেক দিন নানা সম্প্রদায়ের সহিত যোগ দিয়া অনেকপ্রকার মনোরঞ্জনী বিদ্যা তাহার আয়ত্ত হইয়াছিল |
परमानंद ने बहुत डांट-फटकारकर गौरी को घर वापस कर दिया | পরমানন্দ কঠোর ভর্ৎসনা করিয়া গৌরীকে গৃহে ফিরিয়া পাঠাইলেন |
रतन, ‘‘बस चूल्हा जलाने ही जा रही हूं, रसोईघर में" | রতন, "এখনই চুলো ধরাতে যেতে হবে-- হেঁশেলের--" |
उघरी हुई देह में किसी प्रकार का बाहुल्य न था, मानो किसी शिल्पी ने बड़े यत्न से निर्दोष, सुडौल रूप में गढ़ा हो | অনাবৃত দেহখানি সর্বপ্রকার বাহুল্যবর্জিত; কোনো শিল্পী যেন বহু যত্নে নিখুঁত নিটোল করিয়া গড়িয়া দিয়াছেন |
चारु ने अत्यंत विस्तार से बात आरंभ की थी | চারু অত্যন্ত ফাঁদিয়া গল্প আরম্ভ করিয়াছিল |
मति बाबू ने कमरे के बाहर से बहुत अनुनय-विनय की, बहुत फटकारा, किसी प्रकार भी कोई परिणाम न निकला | মতিবাবু ঘরের বাহির হইতে অনেক অনুনয় করিলেন, ভর্ৎসনা করিলেন, কিছুতেই কিছু ফল হইল না |
तब इच्छापूरण देव आ कर बोले, ‘कैसा लग रहा है, तुम दोनों की इच्छा पूरी हुई न! शौक मिटा या नहीं | তখন ইচ্ছাঠাকরুন আসিয়া বলিলেন, 'কেমন, তোমাদের শখ মিটিয়াছে |
वास्तव में कुछ भी असम्भव नहीं लेकिन फिर भी, 'सू' प्रजा-शून्य पातालपुरी के राजघराने में जन्म न लेकर वाणीकंठ के घर पैदा हुई है, और इसीलिए वह आज 'गुसांइयों के घर के लड़के प्रताप को किसी प्रकार के आश्चर्य से अचम्भित नहीं कर सकती | আসলে কিছুই অসম্ভব নয়, কিন্তু তবুও সু প্রজাশূন্য পাতালের রাজবংশে না জন্মিয়া বাণীকণ্ঠের ঘরে আসিয়া জন্মিয়াছে এবং গোঁসাইদের ছেলে প্রতাপকে কিছুতেই আশ্চর্য করিতে পারিতেছে না |
वो अपने पहले की आदत अनुसार जो भी करने जाता उसे सह्य नहीं हो रहा था, पहले मोहल्ले में कहीं भी नाटक-नौटंकी की खबर सुनता तो घर से भाग कर ठीक पहुँच जाता था, चाहे जाड़ा-बरसात कुछ भी हो | সে তাহার পূর্বকালের অভ্যাসমত যাহা করে তাহাই তাহার সহ্য হয় না; পূর্বে সে পাড়ায় কোথাও যাত্রাগানের খবর পাইলেই বাড়ি হইতে পালাইয়া, হিমে হোক, বৃষ্টিতে হোক, সেখানে গিয়া হাজির হইত |
ऊंची श्रेणी के प्राणियों में सुभाषिणी को और भी एक मित्र मिल गया था, किन्तु उसके साथ उसका ठीक कैसा सम्बन्ध था, इसकी पक्की खबर बताना मुश्किल है क्योंकि उसके बोलने की जिह्ना है और वह गूंगी है, अत: दोनों की भाषा एक नहीं थी | উন্নত শ্রেণীর জীবের মধ্যে সুভার আরো একটি সঙ্গী জুটিয়াছিল কিন্তু তাহার সহিত বালিকার ঠিক কিরূপ সম্পর্ক ছিল তাহা নির্ণয় করা কঠিন, কারণ, সে ভাষাবিশিষ্ট জীব; সুতরাং উভয়ের মধ্যে সমভাষা ছিল না |
यह देखकर रतन धूल में लोटकर उनके पैरों से लिपटकर बोली, ‘‘भैयाजी, मैं तुम्हारे पैरों पड़ती हूं, मेरे लिए किसी को कोई चिन्ता करने की जरूरत नहीं’’ और यह कहते-कहते वह तुरन्त वहां से भाग गई | তখন রতন ধুলায় পড়িয়া তাঁহার পা জড়াইয়া ধরিয়া কহিল, ""দাদাবাবু, তোমার দুটি পায়ে পড়ি, তোমার দুটি পায়ে পড়ি, আমাকে কিছু দিতে হবে না; তোমার দুটি পায়ে পড়ি, আমার জন্যে কাউকে কিছু ভাবতে হবে না""-- বলিয়া একদৌড়ে সেখান হইতে পলাইয়া গেল |
उसके पति पारस की हालात पहले बहुत ही गिरी हुई थी, पर अब अपनी कमाई के बूते पर उसने कुछ उन्नति की है, जब तक वह गरीब था तब तक उसके सास-ससुर ने इस ख्याल से कि लड़की तकलीफ पाएगी, बहू की विदा नहीं की | স্বামী পরেশ হীনাবস্থা হইতে সম্প্রতি নিজের উপার্জনে কিঞ্চিৎ অবস্থার উন্নতি করিয়াছে; যতদিন তাঁহার দৈন্য ছিল ততদিন কন্যার কষ্ট হইবে ভয়ে শ্বশুর শাশুড়ি স্ত্রীকে তাঁহার বাড়িতে পাঠান নাই |
अब केवल सब उसे 'सुभा' ही कहकर बुलाते हैं | এখন সকলে তাহাকে সংক্ষেপে সুভা বলে |
कसकर उसका जूड़ा बांध दिया, उसमें जरी का फीता लपेट दिया, आभूषणों से लादकर उसके स्वाभाविक सौंदर्य को भरसक मिटा दिया | আঁটিয়া চুল বাঁধিয়া খোঁপায় জরির ফিতা দিয়া, অলংকারে আচ্ছন্ন করিয়া তাহার স্বাভাবিক শ্রী যথাসাধ্য বিলুপ্ত করিয়া দিলেন |
मतिलाल बाबू का नौकर गैर-बंगाली था, मछली आदि काटने में वह इतना निपुण नहीं था; तारापद ने उसका काम स्वयं लेकर थोड़े ही समय में अच्छी तरह से संपन्न कर दिया और जो-एक तरकारी भी बड़ी थोड़े ही समय में अच्छी तरह से संपन्न कर दिया और दो-एक तरकारी भी बड़ी कुशलता से तैयार कर दी | মতিলালবাবুর চাকরটা ছিল হিন্দুস্থানী, মাছ-কোটা প্রভৃতি কার্যে তাহার তেমন পটুতা ছিল না; তারাপদ তাহার কাজ নিজে লইয়া অল্পকালের মধ্যেই সুসম্পন্ন করিল এবং দুই-একটা তরকারিও অভ্যস্ত নৈপুণ্যের সহিত রন্ধন করিয়া দিল |
चारु जिस तारापद को मन ही मन विद्वेष-बाणों से जर्जर करने की चेष्टा करती रही है, उसी के एकाधिकार को लेकर इतना प्रबल उद्वेग क्यों –किसकी सामर्थ्य है जो यह समझे! | যে তারাপদকে চারু মনে মনে বিদ্বেষশরে জর্জর করিতে চেষ্টা করিয়াছে, তাহারই একাধিকার লইয়া এমন প্রবল উদ্বেগ কেন – বুঝিবে কাহার সাধ্য |
इस सुंदर ब्राह्मण-बालक की आतिथ्य-ग्रहण करने की उदासीनता अन्नपूर्णा को थोड़ी कष्टकर प्रतीत हुई | এই সুন্দর ব্রাক্ষ্মণবালকটির আতিথ্যগ্রহণে ঔদাসীন্য অন্নপূর্ণাকে ঈষৎ পীড়া দিতে লাগিল |
इसके बहुत सारे कारण थे | তাহার অনেকগুলো কারণ ছিল |
उस दिन कई मित्रों के साथ वह कन्या को देखने के लिए आया कन्या के माता-पिता चिन्तित, शंकित और भयभीत हो उठे मानो देवता स्वयं अपनी बलि के पशुओं को देखने आये हों | বন্ধুসঙ্গে বর স্বয়ং কনে দেখিতে আসিলেন— কন্যার মা-বাপ চিন্তিত, শঙ্কিত, শশব্যস্ত হইয়া উঠিলেন; যেন দেবতা স্বয়ং নিজের বলির পশু বাছিয়া লইতে আসিয়াছেন |
जल, स्थल, आकाश, चारों ओर की यह गतिशीलता, सजीवता, मुखरता, आकाश-पृथ्वी की यह व्यापकता और वैचित्र्य एवं निर्लिप्त सुदूरता, यह अत्यंत विस्तृत, चिरस्थायी, निर्निमेष, नीरव, वाक्य-विहीन विश्व तरुण बालक के परमात्मीय थे; पर फिर भी वह इस चंचल मानव को क्षण-भर के लिए भी स्नेह-बाहुओं में बाँध रखने की कोशिश नहीं करता था | এই জল স্থল আকাশ, এই চারি দিকের সচলতা সজীবতা মুখরতা, এই উর্ধ্ব-অধোদেশের ব্যাপ্তি এবং বৈচিত্র্য এবং নির্লিপ্ত সুদূরতা, এই সুবৃহৎ চিরস্থায়ী নির্নিমেষ বাক্যবিহীন বিশ্বজগৎ তরুণ বালকের পরমাত্মীয় ছিল; অথচ সে এই চঞ্চল মানবকটিকে এক মুহূর্তের জন্যও স্নেহবাহুদ্বারা ধরিয়া রাখিতে চেষ্টা করিত না |
पोस्टमास्टर की शिष्या बड़ी देर से दरवाजे के पास बैठी प्रतीक्षा कर रही थी, लेकिन और दिनों की तरह जब यथासमय उसकी बुलाहट न हुई तो खुद किताबों का थैला लिये धीरे-धीरे भीतर आई | পোস্টমাস্টারের ছাত্রীটি অনেকক্ষণ দ্বারের কাছে অপেক্ষা করিয়া বসিয়া ছিল, কিন্তু অন্যদিনের মতো যথাসাধ্য নিয়মিত ডাক শুনিতে না পাইয়া আপনি খুঙ্গিপুঁথি লইয়া ধীরে ধীরে ঘরের মধ্যে প্রবেশ করিল |
रतन ने चुपचाप भीतर प्रवेश किया और आदेश की प्रतीक्षा में मौन भाव से एक बार अपने मालिक की ओर देखा | রতন নিঃশব্দে গৃহে প্রবেশ করিল এবং আদেশপ্রতীক্ষায় একবার নীরবে প্রভুর মুখের দিকে চাহিল |
भोजन के विषय में सुशील बड़ा कडक था ,क्योंकि उसके पिता सुबलचन्द्र जब वृद्ध थे उन्हें अपना खाना ठीक से हजम नहीं होता था, थोडा सा भी ज्यादा खा ले तो खट्टे डकार आने लगते थे —ये बात सुशील चन्द्र को अच्छी तरह याद थी इसीलिए वो अपने पिता को कैसे भी अधिक खाने नहीं देता था | খাওয়ার বিষয়ে সুশীলের বড়ো কড়াক্কড় ছিল কারণ তাহার বাপ সুবল যখন বৃদ্ধ ছিলেন তখন তাঁহার খাওয়া ভালো হজম হইত না, একটু বেশি খাইলেই অম্বল হইত-- সুশীলের সে কথাটা বেশ মনে আছে, সেইজন্য সে তাহার বাপকে কিছুতেই অধিক খাইতে দিত না |
तारापद ने पेट-भर भोजन तो किया, किंतु दूध नहीं पिया | তারাপদ যথাপরিমাণে আহার করিল, কিন্তু দুধ খাইল না |
स्कूल से लौट कर छोटा पिता खेलने-कूदने और उधम मचाने लग जाता लेकिन, उसी समय वृद्ध सुशील चन्द्र एक रामायण की किताब ले कर सस्वर पाठ करना आरम्भ कर देते | স্কুলের ছুটির পরে সুবল বাড়ি আসিয়া খুব একচোট ছুটাছুটি করিয়া খেলিয়া বেড়াইবার জন্য অস্থির হইয়া পড়িতেন; কিন্তু ঠিক সেই সময়টিতে বৃদ্ধ সুশীলচন্দ্র চোখে চশমা দিয়া একখানা কৃত্তিবাসের রামায়ণ লইয়া সুর করিয়া করিয়া পড়িত, |
देखते-देखते गुरु गंभीर ध्वनि में मेघ गरजने लगा, विद्युत आकाश को चीर-चीरकर चकाचौंध उत्पन्न करने लगी, सुदूर अंधकार में से मूसलधार वर्षा की गंध आने लगी | দেখিতে দেখিতে গুরু গুরু শব্দে মেঘ ডাকিয়া উঠিল, বিদ্যুৎ আকাশকে কাটিয়া কাটিয়া ঝলসিয়া উঠিল, সুদুর অন্ধকার হইতে একটা মুষলধারাবর্ষী বৃষ্টির গন্ধ আসিতে লাগিল |
चारुशशि अपने माता-पिता की इकलौती संतान और उनके स्नेह की एकमात्र अधिकारिणी थी | চারুশশী তাহার পিতামাতার একমাত্র সন্তান, তাঁহাদের পিতৃমাতৃস্নেহের একমাত্র অধিকারিণী |
असह्य रोष में आकर गौरी ने किसी तरह दरवाजा खोल लिया, और उसी वक्त वह घर से बाहर निकल गई | অসহ্য রোষে গৌরী কোনোমতে দ্বার উন্মোচন করাইয়া তৎক্ষণাৎ বাড়ি হইতে বাহির হইয়া গেল |
कांपते हृदय से उसने भीतर प्रवेश किया और पूछा, ‘‘भैयाजी, मुझे बुलाया था" | উদ্বেলিতহৃদয়ে রতন গৃহের মধ্যে প্রবেশ করিয়া বলিল, ""দাদাবাবু, আমাকে ডাকছিলে" |
उसी दिन किसी अन्य तुच्छ बात के सहारे सोनामणि के साथ चारु की गहरी कुट्टी हो गई | সেই দিনই অপর একটা তুচ্ছসূত্রে সোনামণির সহিত চারুর মর্মান্তিক আড়ি হইয়া গেল |
बीच-बीच में वह बिना कारण घर का नौकर भी छुड़ा देने लगा | মাঝে মাঝে অকারণ পরেশ এক-একটা করিয়া চাকর ছাড়াইয়া দিতে লাগিলেন |
कलकत्ता के फौजी बैंड को पेशगी देने के लिए मुख्तार को आदेश दिया और सामान की सूची भेद दी | কলিকাতার মোক্তারকে গড়ের বাদ্য বায়না দিতে আদেশ করিলেন এবং জিনিসপত্রের ফর্দ পাঠাইয়া দিলেন |
तस्वीरों की पुस्तकों के प्रति तारापद का यह आग्रह देखकर एक दिन मतिलाल बाबू बोले, ‘‘अंग्रेजी सीखोगे तब तुम इन सारी तस्वीरों का अर्थ समझ लोगे!’’ तारापद ने तुरंत कहा, ‘‘सीखूँगा" | ছবির বহির প্রতি তারাপদর এই আগ্রহ দেখিয়া একদিন মতিলালবাবু বলিলেন, “ইংরিজি শিখবে তা হলে এ-সমস্ত ছবির মানে বুঝতে পারবে" তারাপদ তৎক্ষণাৎ বলিল, “শিখব |
शिष्या ने कहा, 'गुरुदेव, इस अपमान-भरे संसार से उद्धार करके मुझे और कहीं ले चलो अब मैं तुम्हारी ही सेवा में अपना जीवन न्यौछावर करना चाहती हूं" | শিষ্য কহিল, “গুরুদেব, অপমানিত সংসার হইতে আমাকে উদ্ধার করিয়া লইয়া চলো, তোমার সেবাব্রতে আমি জীবন উৎসর্গ করিব" |
पोस्टमास्टर ने रतन का ऐसा व्यवहार पहले कभी नहीं देखा था, इसलिए वे अवाक् रह गए | পোস্টমাস্টার রতনের এরূপ ব্যবহার কখনো দেখেন নাই, তাই অবাক হইয়া রহিলেন |
तारापद छुट्टी के समय स्वयं कमरे में बैठकर लिखता और पाठ कंठस्थ करता, यह उस ईर्ष्या-परायण बालिका से सहन न होता वह छिपकर उसके लिखने की कॉपी में स्याही उड़ेल देती, कलम चुराकर रख देती, यहाँ तक कि किताब में जिसका अभ्यास करना होता उस अंश को फाड़ आती | তারাপদ অবসরের সময় নিজে ঘরে বসিয়া লিখিত এবং পড়া মুখস্থ করিত, ইহা সেই ঈর্ষাপরায়ণা কন্যাটির সহ্য হইত না; সে গোপনে তাহার লেখা খাতায় কালী ঢালিয়া আসিত, কলম চুরি করিয়া রাখিত, এমন-কি বইয়ের যেখানে অভ্যাস করিবার, সেই অংশটি ছিঁড়িয়া আসিত |
जिस दिन कहीं निमंत्रण होता उस दिन उसकी माँ को भय रहता कि कहीं लड़की साज-सिंगार को लेकर कोई असंभव जिद न कर बैठे | যেদিন কোথাও নিমন্ত্রণ থাকিত সেদিন তাহার মায়ের ভয় হইত, পাছে মেয়েটি সাজসজ্জা সম্বন্ধে একটা অসম্ভব জেদ ধরিয়া বসে |
मानो किसी एक पूर्णिमा को किसी सागर से एक ज्वार-सा आकर उसके अन्तराल को किसी एक नवीन अनिर्वचनीय चेतना-शक्ति से भर-भर देता है | যেন কোনো-একটা পূর্ণিমাতিথিতে কোনো-একটা সমুদ্র হইতে একটা জোয়ারের স্রোত আসিয়া তাহার অন্তরাত্মাকে এক নূতন অনির্বচনীয় চেতনাশক্তিতে পরিপূর্ণ করিয়া তুলিতেছে |
चारु समझती थी कि तारापद विशेष रूप से उन्हीं का तारापद था–अत्यंत गुप्त रूप में संरक्षणीय; अन्य साधारणजन केवल उसका थोड़ा-बहुत आभास-मात्र पाएँगे, फिर भी किसी भी तरह उसका सामीप्य न पा सकेंगे, दूर से ही उसके रूप-गुण पर मुग्ध होंगे और चारुशशि को धन्यवाद देते रहेंगे | চারু জানিত, তারাপদ বিশেষরূপে তাহাদেরই তারাপদ— অত্যন্ত গোপনে সংরক্ষণীয়, ইতরসাধারণে তাহার একটু-আধটু আভাসমাত্র পাইবে, অথচ কোনোমতে নাগাল পাইবে না, দূর হইতে তাহার রূপে গুণে মুগ্ধ হইবে এবং চারুশশীদের ধন্যবাদ দিতে থাকিবে |
अपनी अस्वस्थता का उल्लेख करते हुए उन्होंने उसी समय अधिकारियों के पास बदली के लिए कलकत्ता दरख्वास्त भेज दी | স্থানীয় অস্বাস্থ্যের উল্লেখ করিয়া তৎক্ষণাৎ কলিকাতায় কর্তৃপক্ষদের নিকট বদলি হইবার জন্য দরখাস্ত করিলেন |
इसलिए स्थानीय लोगों से उनका मेल-जोल नहीं हो पाता | এই কারণে স্থানীয় লোকের সহিত তাঁহার মেলামেশা হইয়া উঠে না |
मालिक ने कहा, ‘‘रतन, मेरी जगह जो सज्जन आयेंगे मैं उन्हें कह जाऊंगा वे मेरी ही तरह तेरी देख-भाल करेंगे,मेरे जाने से तुझे कोई चिंता करने की जरूरत नहीं है" | প্রভু কহিলেন, ""রতন, আমার জায়গায় যে লোকটি আসবেন তাঁকে বলে দিয়ে যাব তিনি তোকে আমারই মতন যত্ন করবেন, আমি যাচ্ছি বলে তোকে কিছু ভাবতে হবে না"" |
काम-धन्धों में, हास-परिहास में और जहां कहीं भी एक-आध की कमी देखी, वहीं वे चट-से हाथ के पास ही मिल जाते हैं | কাজে-কর্মে আমোদে-অবসরে যেখানে একটা লোক কম পড়ে সেখানেই তাহাদিগকে হাতের কাছে পাওয়া যায় |
बाद में यदि किसी दिन सहसा उसकी बुलाहट हुई तो उस दिन कहीं उसका संयुक्त अक्षरों का ज्ञान गड़बड़ न हो जाय इसकी उसे आशंका थी | পাছে যেদিন সহসা ডাক পড়িবে সেদিন তাহার যুক্ত-অক্ষর সমস্ত গোলমাল হইয়া যায়, এই তাহার একটা আশঙ্কা ছিল |
सुशील ज़बरदस्ती छोटे पिता को स्कूल भेजने लगा | সুশীল জোর করিয়া খুদে বাপটিকে স্কুলে পাঠাইতে আরম্ভ করিল |
वस्त्र के नाम पर उसके पास एक मैली धोती थी | পরিধানে একখানি মলিন ধুতি |
उसकी दृष्टि, उसके हाथ, उसका मन सर्वदा ही गतिशील बने रहते, इसी कारण वह इस नित्य चलायमान प्रकृति के समान सर्वदा निश्चिंत, उदासीन रहता; किंतु सर्वदा क्रियासक्त भी | তাহার দৃষ্টি, তাহার হস্ত, তাহার মন সর্বদাই সচল হইয়া আছে; এইজন্য সে এই নিত্যসচলা প্রকৃতির মতো সর্বদাই নিশ্চিন্ত উদাসীন, অথচ সর্বদাই ক্রিয়াসক্ত |
मति बाबू की स्त्री अन्नपूर्णा इस सुंदर बालक को देखकर स्नेह से उच्छवसित हो उठीं, मन-ही-मन कह उठीं, ‘अहा! किसका बच्चा है, कहाँ से आया है इसकी माँ इसे छोड़कर किस प्रकार जीती होगी' | মতিবাবুর স্ত্রী অন্নপূর্ণা এই সুন্দর বালকটিকে দেখিয়া স্নেহে উচ্ছ্বসিত হইয়া উঠিলেন— মনে মনে কহিলেন, ‘আহা, কাহার বাছা, কোথা হইতে আসিয়াছে— ইহার মা ইহাকে ছাড়িয়া কেমন করিয়া প্রাণ ধরিয়া আছে' |
उसके विवाह की कोई विशेष सम्भावना नहीं दिखाई देती थी | বিবাহের বিশেষ সম্ভাবনা দেখা যায় না |
लेकिन खंजन जैसी आंखों को कभी कुछ भी अनुवाद नहीं करना पड़ता, मन अपने-आप ही उन पर छाया डालता रहता है, मन के भाव अपने आप ही उस छाया में कभी विस्तृत होते और कभी सिकुड़ते हैं | কিন্তু, কালো চোখকে কিছু তর্জমা করিতে হয় না – মন আপনি তাহার উপরে ছায়া ফেলে; ভাব আপনি তাহার উপরে কখনো প্রসারিত কখনো মুদিত হয়; |
जब वे नौका पर सवार हो गए और नाव चल पड़ी, वर्षा से उमड़ी नदी धरती की छलछलाती अश्रु-धारा के समान चारों ओर छलछल करने लगी, तब वे अपने हृदय में एक तीव्र व्यथा अनुभव करने लगे, एक साधारण ग्रामीण बालिका के करुण मुख का चित्र मानो विश्व-व्यापी बृहत् अव्यक्त मर्म-व्यथा प्रकट करने लग गया | যখন নৌকায় উঠিলেন এবং নৌকা ছাড়িয়া দিল, বর্ষাবিস্ফারিত নদী ধরণীর উচ্ছলিত অশ্রুরাশির মতো চারি দিকে ছলছল করিতে লাগিল, তখন হৃদয়ের মধ্যে অত্যন্ত একটা বেদনা অনুভব করিতে লাগিলেন-- একটি সামান্য গ্রাম্য বালিকার করুণ মুখচ্ছবি যেন এক বিশ্বব্যাপী বৃহৎ অব্যক্ত মর্মব্যথা প্রকাশ করিতে লাগিল |
मति बाबू ने खोजकर अपनी पुत्री के विवाह के लिए दो-तीन अच्छे रिश्ते जुटाए | মতিবাবু সন্ধান করিয়া তাঁহার মেয়ের বিবাহের জন্য দুই-তিনটি ভালো ভালো সম্বন্ধ আনাইলেন |
वह पिछड़ जाती, पाठ कंठस्थ न करती किंतु फिर भी वह किसी प्रकार तारापद से पीछे रहना न चाहती | সে পিছাইয়া পড়ে, পড়া মুখস্থ করে না, কিন্তু তবু কিছুতেই তারাপদর পশ্চাদ্বর্তী হইয়া থাকিতে চাহে না |
कल तक जो लड़के छोटे सुशील चन्द्र के साथ कबड्डी खेलने आते थे आज वो बूढ़े सुशील चन्द्र को देख छिटक कर दूर चले गये | কাল পর্যন্ত যে-সকল ছেলে সুশীলচন্দ্রের সঙ্গে কপাটি খেলিয়াছে আজ তাহার সুশীলের সন্ধানে আসিয়া বুড়ো সুশীলকে দেখিয়া দূরে ছুটিয়া গেল |
अंत में इन स्नेह-दुर्बल निरुपाय अभिभावकों ने बालिका के प्रस्ताव को गंभीरता से स्वीकार कर लिया | অবশেষে এই স্নেহদুর্বল নিরুপায় অভিভাবকদ্বয় বালিকার প্রস্তাব গম্ভীরভাবে গ্রাহ্য করিলেন |
पिता बोलें, ‘न ना! आज जाने की ज़रूरत नहीं तुम पाचक खा कर चुपचाप सोये रहो’ ये बोल कर सुबलचन्द्र जबरदस्ती सुशील को पाचक खिला कर बाहर से कमरे में ताला लगा कर चले गये | বাবা বলিলেন, 'না না, সে কাজ নেই, তুই পাঁচন খেয়ে এইখানে চুপচাপ করে শুয়ে থাক এই বলিয়া তাহাকে জোর করিয়া পাঁচন খাওয়াইয়া ঘরে তালা লাগাইয়া বাহির হইয়া গেলেন |
अन्नपूर्णा ने पूछा, ‘‘वे तुम्हें प्यार नहीं करतीं" | অন্নপূর্ণা জিজ্ঞাসা করিলেন, “তিনি তোমাকে ভালোবাসেন না" |
ज्योत्स्ना-संध्या में तारापद ने घाट पर जाकर देखा, कोई नौका-चरखी लिए, कोई यात्रा करने वालों की मंडली लिए, कोई बिक्री का सामान लिए प्रबल नवीन स्त्रोत की धारा में तेजी से मेले की ओर चली जा रही है; यात्रा का दल सारंगी के साथ गीत गा रहा है और सम पर हा-हा-हा शब्द की ध्वनि हो उठती है, पश्चिमी प्रदेश की नौका के मल्लाह केवल मृदंग और करताल लिए उन्मत्त-उत्साह से बिना संगीत के खचमच शब्द से आकाश को विदीर्ण कर रहे हैं–उद्दीपनों की सीमा नहीं थी | জ্যোৎস্না-সন্ধ্যায় তারাপদ ঘাটে গিয়া দেখিল, কোনো নৌকা নাগরদোলা, কোনো নৌকা যাত্রার দল, কোনো নৌকা পণ্যদ্রব্য লইয়া প্রবল নবীন স্রোতের মুখে দ্রুতবেগে মেলা অভিমুখে চলিয়াছে; কলিকাতার কন্সর্টের দল বিপুলশব্দে দ্রুততালের বাজনা জুড়িয়া দিয়াছে, যাত্রার দল বেহালার সঙ্গে গান গাহিতেছে এবং সমের কাছে হাহাহাঃ শব্দে চীৎকার উঠিতেছে, পশ্চিমদেশী নৌকার দাঁড়িমাল্লাগুলো কেবলমাত্র মাদল এবং করতাল লইয়া উন্মত্ত উৎসাহে বিনা সংগীতে খচমচ শব্দে আকাশ বিদীর্ণ করিতেছে— উদ্দীপনার সীমা নাই |
उसने सुना था कि नंदीग्राम के जमींदार बाबू बड़ी धूमधाम से एक शौकिया जात्रा-दल बना रहे हैं–अतः वह अपनी छोटी सी पोटली लेकर नंदीग्राम की यात्रा की तैयारी कर रहा था, इसी समय उसकी भेंट मति बाबू से हो गई | সে শুনিয়াছিল, নন্দীগ্রামের জমিদারবাবুরা মহাসমারোহে এক শখের যাত্রা খুলিতেছেন— শুনিয়া সে তাহার ক্ষুদ্র বোঁচকাটি লইয়া নন্দীগ্রামে যাত্রার আয়োজন করিতেছিল, এমন সময় মতিবাবুর সহিত তাহার সাক্ষাৎ হয় |
फिर पति-पत्नी ने सोच-विचारकर तारापद के घर उसके कुल का हाल-चाल जानने के लिए आदमी भेजा | তখন স্ত্রী-পুরুষে অনেক আলোচনা করিয়া তারাপদর দেশে তাহার কৌলিক সংবাদ সন্ধান করিবার জন্য লোক পাঠাইলেন |
इसका फल यह निकला कि वह सदैव अपने को सब परिजनों की दृष्टि से बचाये रखने का प्रयत्न करने लगी | তাহার ফল এই হইয়াছিল, সাধারণের দৃষ্টিপথ হইতে সে আপনাকে গোপন করিয়া রাখিতে সর্বদাই চেষ্টা করিত |
दोनों छोरों के ग्रामवासियों के साथ मानो उसका एक-न-एक सम्बन्ध स्थापित हो गया है | দুই ধারের গ্রামের সকলেরই সঙ্গে তাহার যেন একটা-না-একটা সম্পর্ক আছে |
स्वस्थ होकर जिस दिन भेंट करने आई उस दिन प्रायः अकारण ही दोनों सहेलियों में कुछ मनोमालिन्य की नौबत आ गई | সুস্থ হইয়া যেদিন দেখা করিতে আসিল সেদিন প্রায় বিনা কারণেই দুই সখীর মধ্যে একটু মনোবিচ্ছেদ ঘটিবার উপক্রম হইল |
और, सन्यासी के इन दिन-रातों का इतिहास अन्तर्यामी के सिवा और कोई भी न जान सका | সন্ন্যাসীর এই কয়দিনকার দিনরাত্রের ইতিহাস কেবল অন্তর্যামীই জানেন |
चारु का विचित्र आचरण देखकर वह अब पहले के समान परिहास न कर पाता; ऊधम करने पर उसको मारने की बात मन में उदय भी न होती | চারুর অদ্ভুত আচরণ লক্ষ্য করিয়া সে আর পূর্বের মতো স্বভাবত পরিহাস করিতে পারিত না, দুষ্টামি করিলে তাহাকে মারিবার কথা মনেও উদয় হইত না |
किंतु वह वैसा न करके गंभीर ही बना रहा | কিন্তু সে তাহা না দিয়া গম্ভীর হইয়া রহিল |
तीसरे पहर सरिता के तीर पर बहुधा वह इस काम में तल्लीन दिखाई देता और इसी बहाने सुभाषिणी से उसकी भेंट हुआ करती | অপরাহ্নে নদীতীরে ইহাকে প্রায় এই কাজে নিযুক্ত দেখা যাইত এবং এই উপলক্ষে সুভার সহিত তাহার প্রায় সাক্ষাৎ হইত |
कल तक जिस पेड़ पर वो गिलहरी की तरह झटपट चढ़ जा रहा था आज इस बूढ़े शरीर के साथ किसी भी तरह संभव नहीं हो रहा था, पेड़ की एक नाजुक डाल पर शरीर का भार देते ही वो डाल भारी शरीर का भार वहन ना कर पायी और टूट कर ज़मीन पर गिर गयी, साथ में बूढा सुशील चन्द्र भी धड़ाम से गिर पड़ा | কাল যে গাছটাতে কাঠবিড়ালির মতো তর তর করিয়া চড়িতে পারিত আজ বুড়া শরীর লইয়া সে গাছে কিছুতেই উঠিতে পারিল না; নিচেকার একটা কচি ডাল ধরিবামাত্র সেটা তাহার শরীরের ভারে ভাঙিয়া গেল এবং বুড়া সুশীল ধপ করিয়া মাটিতে পড়িয়া গেল |
माता-पिता उसको अकेला सुलाकर तारापद को घेरकर संगीत का आनंद ले रहे हैं, यह उसे एकदम असह्य हो उठता | পিতামাতা তাহাকে একলা ঘুমাইতে পাঠাইয়া তারাপদকে ঘিরিয়া সংগীত উপভোগ করিতেছেন ইহা তাহার একান্ত অসহ্য হইয়া উঠিত |
सुबल चन्द्र आवाज़ भारी कर के आवाज़ लगाये, ‘सुशील, व्याकरण याद नहीं करना है | সুবল গলা ভার করিয়া বলিলেন, 'সুশীল, ব্যাকরণ মুখস্থ করবে না |
झपटकर लौटकर भीतर जाकर उसने कहा, ‘‘भैयाजी, सो रहे थे" | তাড়াতাড়ি ফিরিয়া গিয়া বলিল, ""দাদাবাবু, ঘুমোচ্ছিলে |
सुभा को बोलने की जबान नहीं है, पर उसकी लम्बी-लम्बी पलकों में दो बड़ी-बड़ी काली आंखें अवश्य हैं, और उसके ओष्ठ तो मन के भावों के तनिक से संकेत पर नए पल्लव की तरह कांप-कांप उठते हैं | সুভার কথা ছিল না, কিন্তু তাহার সুদীর্ঘপল্লববিশিষ্ট বড়ো বড়ো দুটি কালো চোখ ছিল— এবং তাহার ওষ্ঠাধর ভাবের আভাসমাত্রে কচি কিশলয়ের মতো কাঁপিয়া উঠিত |
बिल्ली का बच्चा, चाहे दिन हो या रात, जब-तब सुभाषिणी की गर्म गोद पर बिना किसी संकोच के अपना हक जमा लेता और सुख की नींद सोने की तैयारी करता और सुभाषिणी जब उसकी गर्दन और पीठ पर अपनी कोमल उंगलियां फेरती, तब तो वह ऐसे आन्तरिक भाव दर्शाने लगता, मानो उसको नींद में खास सहायता मिल रही है | বিড়ালশিশুটি দিনে এবং রাত্রে যখন-তখন সুভার গরম কোলটি নিঃসংকোচে অধিকার করিয়া সুখনিদ্রার আয়োজন করিত এবং সুভা তাহার গ্রীবা ও পৃষ্ঠে কোমল অঙ্গুলি বুলাইয়া দিলে যে তাহার নিদ্রাকর্ষণের বিশেষ সহায়তা হয়, ইঙ্গিতে এরূপ অভিপ্রায়ও প্রকাশ করিত |
वह अंतःकरण से बिलकुल निर्लिप्त और मुक्त था | অন্তরের মধ্যে সে সম্পূর্ণ নির্লিপ্ত এবং মুক্ত ছিল |
संगीत का स्वर उसकी समस्त धमनियों में कंपन पैदा कर देता और संगीत की ताल पर उसके सर्वांग में आंदोलन उपस्थित हो जाता | গানের সুরে তাহার সমস্ত শিরার মধ্যে অনুকম্পন এবং গানের তালে তাহার সর্বাঙ্গে আন্দোলন উপস্থিত হইত |
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